Amit Shah On Justice Yashwant Varma: हाय दोस्तों, आज हम बात करने वाले हैं एक बड़े मामले की जो इन दिनों सुर्खियों में छाया हुआ है। दिल्ली हाई कोर्ट के जज जस्टिस यशवंत वर्मा के घर से करोड़ों की नकदी मिलने का मामला अब गर्मागर्म हो चला है। हर तरफ बस यही सवाल है कि आखिर FIR कब होगी और इस पर फैसला कौन लेगा? तो चलो, इस पूरे मामले को समझते हैं, बिल्कुल आसान भाषा में, जैसे दोस्तों के साथ गप्पे मारते हैं। ये पूरा लेख पढ़ो, सब कुछ यहीं मिलेगा—कहीं और जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी!
क्या है पूरा मामला?
तो हुआ ये कि 14 मार्च 2025 की रात को जस्टिस यशवंत वर्मा के दिल्ली वाले सरकारी घर में आग लग गई। दमकल विभाग की टीम आई, आग बुझाई, लेकिन स्टोर रूम में भारी मात्रा में नकदी मिली। ये देखकर सबके होश उड़ गए। खबर फैली तो सियासी और कानूनी गलियारों में हलचल मच गई। अब सवाल ये कि इतना पैसा कहाँ से आया? और अभी तक FIR क्यों नहीं हुई? इसी पर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने हाल ही में अपनी बात रखी, जिसके बाद मामला और भी रोचक हो गया।
Amit Shah On Justice Yashwant Varma: क्या बोले गृह मंत्री?
टाइम्स नाउ समिट 2025 में अमित शाह ने पहली बार इस मामले पर खुलकर बोला। उनका कहना था कि किसी जज के खिलाफ FIR दर्ज करना इतना आसान नहीं है। “CJI की मंजूरी के बिना FIR नहीं हो सकती,” उन्होंने साफ कहा। मतलब, भारत के मुख्य न्यायाधीश (CJI) संजीव खन्ना की हरी झंडी के बिना दिल्ली पुलिस कुछ नहीं कर सकती। शाह ने ये भी बताया कि सुप्रीम कोर्ट ने एक खास समिति बनाई है, जो इसकी जांच कर रही है। “हमें समिति की रिपोर्ट का इंतजार करना चाहिए,” उनका मानना है। यानी फैसला CJI तब लेंगे, जब ये कमेटी अपनी रिपोर्ट दे देगी।
जांच का हाल क्या है?
अब बात जांच की। CJI संजीव खन्ना ने इस मामले को गंभीरता से लिया और एक तीन जजों की कमेटी बना दी। ये कमेटी अभी सबूत जुटा रही है—दिल्ली पुलिस और दमकल विभाग से दस्तावेज मांगे गए हैं। शाह ने कहा कि सरकार पूरा सहयोग कर रही है। लेकिन अभी तक न FIR हुई, न कोई बड़ी कार्रवाई। सुप्रीम कोर्ट ने एक PIL (जनहित याचिका) को भी खारिज कर दिया, जिसमें FIR की मांग थी। कोर्ट का कहना था कि “जांच पूरी होने तक इंतजार करो, CJI के पास सारे रास्ते खुले हैं।”
लोग क्यों हैं परेशान?
अब ये सवाल तो बनता है कि FIR में इतनी देरी क्यों? कई बार असोसिएशंस ने CJI से गुहार लगाई कि जस्टिस वर्मा का ट्रांसफर रद्द करो और फौरन FIR करो। उनका कहना है कि सबूत नष्ट हो सकते हैं। लेकिन नियम ये कहता है कि जज के खिलाफ कार्रवाई के लिए CJI की इजाजत जरूरी है। तो सबकी नजरें अब CJI संजीव खन्ना और उनकी कमेटी की रिपोर्ट पर टिकी हैं।

Amit Shah On Justice Yashwant Varma Highlights: एक नजर में पूरी बात
पॉइंट | डिटेल |
कब हुआ? | 14 मार्च 2025, रात को जस्टिस वर्मा के घर में आग लगी |
क्या मिला? | स्टोर रूम से भारी मात्रा में नकदी बरामद |
FIR का स्टेटस | अभी तक नहीं हुई, CJI की मंजूरी का इंतजार |
Amit Shah On Justice Yashwant Varma | “CJI की इजाजत के बिना FIR नहीं, कमेटी की रिपोर्ट का इंतजार करो” |
जांच का हाल | तीन जजों की कमेटी जांच कर रही है, रिपोर्ट का इंतजार |
अगला कदम | CJI फैसला लेंगे—FIR हो सकती है या जज को हटाने की सिफारिश |
आगे क्या होगा?
अगर कमेटी की रिपोर्ट में कुछ गड़बड़ पाई गई, तो CJI के पास दो रास्ते होंगे—या तो FIR की इजाजत देंगे, या फिर संसद को जज को हटाने की सिफारिश करेंगे। लेकिन अभी सब “अगर-मगर” में है। अमित शाह का कहना साफ है कि जल्दबाजी नहीं करनी चाहिए। तो दोस्तों, ये मामला अभी और बड़ा मोड़ ले सकता है—पूरा सच सामने आने में वक्त लगेगा।
निष्कर्ष
बस यही है दोस्तों! ये पूरा मामला अभी गर्म है, और आगे क्या होता है, वो कमेटी की रिपोर्ट पर डिपेंड करता है। अगर आपको और कुछ जानना है, तो कमेंट में पूछो—हम फिर से गप्पे मारेंगे। तब तक इसको पूरा पढ़ो और अपने दोस्तों के साथ शेयर करो, सबको पता चले कि Amit Shah On Justice Yashwant Varma ने क्या कहा और CJI कब फैसला लेंगे!
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FAQ Related To Amit Shah On Justice Yashwant Varma
फिलहाल कुछ कहना मुश्किल है। Amit Shah On Justice Yashwant Varma के मुताबिक, CJI की मंजूरी जरूरी है और वो कमेटी की रिपोर्ट के बाद ही फैसला लेंगे। तो रिपोर्ट का इंतजार करना पड़ेगा।
CJI ने एक तीन जजों की कमेटी बनाई है जो जांच कर रही है। वो रिपोर्ट के आधार पर फैसला लेंगे कि FIR हो या कोई और कार्रवाई।
अभी तक कोई आधिकारिक जवाब नहीं है। जांच चल रही है, और सबूतों के आधार पर ही कुछ साफ होगा।